सूफी आंदोलन

इस्लाम में सूफी किसे कहा गया है
– जो तसव्वुफ का अनुयायी हो और सभी से प्रेम करता हो

सूफीवाद के विषय में सही कथन है-
(1) वे परमात्मा से साक्षात्कार के लिए आतुर रहते थे।
(2) वे इस्लाम की मूल-आत्मा में निवास करते थे न कि उसके सैद्धांतिक आडम्बरों में
(3) वे अनुयायियों के आचरण को नियंत्रित करने के लिए गुरू की आवश्यकता को स्वीकार करते थे

भारतीय दर्शन सूफीवाद से प्रभावित हुआ। सूफीवाद का क्या प्रभाव था – रहस्यवाद

भारतीय चिंतन जगत में ‘रहस्यवाद का प्रवेश’ किसका शुभ परिणाम है – इस्लाम का

“सूफीवाद का जन्म इस्लाम के अन्तःस्थल से हुआ।” यह किसने लिखा है – डा. यूसुफ हुसैन ने

“सूफीवाद का जन्म इस्लाम के से हुआ।” यह
किसने लिखा है-डा. यूसुफ हुसैन ने

सूफी विचारधारा में ‘तर्क-ए-दुनिया’ का क्या अर्थ है-विश्व का परित्याग

सूफी किस प्रकार के भक्त थे-सर्वेश्वरवादी थे

सूफी सन्तों ने सांस्कृतिक समन्वय में योगदान कैसे दिया था-जबान-ए-हिन्दवी को बढ़ावा देकर

अधिकतर मुस्लिम लेखक और कवि कौन थे जिन्होंने हिन्दी साहित्य को अपनी रचनाओं द्वारा योगदान दिया था-सूफी संत या सूफीवाद के अनुयायी

मध्यकालीन भारत में कलन्दर कौन थे-घुमन्तू दरवेश थे

सूफी शब्दावली hat overline H विलायत का क्या अर्थ है- आध्यात्मिक क्षेत्र

खानकाह क्या था-सूफियों का निवास स्थान

साहित्य को अपनी रचनाओं द्वारा योगदान दिया था-सूफी संत या सूफीवाद के अनुयायी

मध्यकालीन भारत में कलन्दर कौन थे -घुमन्तू दरवेश थे

सूफी शब्दावली में विलायत का क्या अर्थ है- आध्यात्मिक क्षेत्र

खानकाह क्या था -सूफियों का निवास स्थान

किसने सूफी संप्रदाय में सर्वप्रथम ‘फना’ शब्द का प्रयोग किया था-अबू यजीद ने

मध्ययुगीन भारत के धार्मिक इतिहास के संदर्भ में सूफी संत किस तरह के आचरण का निर्वाह करते थे-
– ध्यानसाधना और श्वास-नियमन –
– एकांत में कठोर यौगिक व्यायाम
– श्रोताओं में आध्यात्मिक हर्षोन्माद उत्पन्न करने के लिए पवित्र गीतों का गायन

‘फवायद-उल-फुआद’, ‘खैर-उल मजालिस’ और ‘सरूर-उस- सुदूर’ क्या है -सूफियों के संवादों के संकलन हैं

लाहौर में सूफी मत का प्रचार किसने किया था
– अबुल हसन हुजवेरी ( अली हुजवेरी) ने

गजनवी काल में कौन-सा स्थान सूफी केन्द्र के रूप में स्थापित हो चुका था – लाहौर

कौन सूफी संत ‘हजरत दातागंज’ के नाम से प्रसिद्ध था- अबुल हसन हुजवेरी ( अली हुजवेरी)

‘कश्फुल महजूब’ नामक ग्रन्थ का प्रतिपादन किसने किया था- अबुल हसन हुजबेरी (अली हुजवेरी)

‘कश्फुल महजूब’ नामक पुस्तक फारसी भाषा में लाहौर में सूफियों के बारे में किसके द्वारा रची गई थी- अली हुजवेरी द्वारा

किसने समुद्री मार्ग से यात्रा कर भारत में सूफी मत का प्रचार किया था-दसवीं सदी में अलमंसूर ने

किस सूफी सन्त को ‘अलख’ कहा जाता था
-अब्दुल कुदुस गंगोही को

किस सूफी संत ने अपने रूश्दनामा में ‘श्री गोरख’ ‘अलख निरंजन’ और ‘ओंकार’ का जिक्र किया है
– शेख अब्दुल कुदुस गंगोही

किस ग्रन्थ में हिन्दुस्तान के सूफी सन्तों का जीवनवृत्तांत दिया गया है और जिसके रचयिता ने जहाँगीर से भेंट किया था-अखबार-उल-अखयार

सूफी संत के मकबरों को क्या कहा जाता था
– दरगाह

चिश्ती संप्रदाय
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अबुल फजल ने कितने सूफी सिलसिलों का उल्लेख किया है-चौदह सिलसिलों का

भारत का प्राचीनतम सूफी सिलसिला कौन है
-चिश्ती सिलसिला

सूफी मत में चिश्तिया शाखा का संस्थापक कौन था-ख्वाजा अबू अब्दाल

भारत में चिश्ती संप्रदाय का प्रवर्तक कौन था
– ख्वाजा मुइनुद्दीन चिश्ती

भारत में सूफियों के चिश्ती धर्मसंघ का प्रवर्तक और सर्वप्रमुख व्यक्ति कौन था- ख्वाजा मुइनुद्दीन चिश्ती

ख्वाजा मुइनुद्दीन चिश्ती किसके शिष्य थे
– ख्वाजा उस्मान हारूनी के

ख्वाजा मुइनुद्दीन चिश्ती किसके साथ भारत आये थे- मुहम्मद गोरी के

तिथि के अनुसार चिश्ती संप्रदाय के संतों का सही क्रम है

-मुइनुद्दीन चिश्ती-बख्तियार काकी-फरीद गंज ए-शकर- निजामुद्दीन औलिया-नासिरूद्दीन चिराग-ए- देहली

वे चिश्ती संत कौन थे जिनके प्रति शिहाबुद्दीन गोरी बहुत अनुकूल था – ख्वाजा मुइनुद्दीन चिश्ती

सूफी संतों में से कौन एक सर्वप्रथम अजमेर में बस गए थे – शेख मुइनुद्दीन चिश्ती

अजमेर में उर्स महोत्सव किस सूफी संत की पुण्य तिथि के रूप में मनाया जाता है – ख्वाजा मुइनुद्दीन चिश्ती की

ख्वाजा मुइनुद्दीन चिश्ती की मृत्यु कब हुई थी – 1236 ई. में

किस सूफी संत की मान्यता थी कि भक्ति संगीत ईश्वर के निकट पहुंचने का एक साधन है -मुइनुद्दीन चिश्ती

चिश्ती संतों के विषय में सही है-
– अद्वैत का प्रचार करते थे –
– संगीत के आध्यात्मिक मूल्य में विश्वास करते थे
– व्यक्तिगत संपत्ति का विरोध करते थे

सांसारिकता को तुच्छ समझते थे
– धन-संपत्ति एवं सुल्तानों को तुच्छ – समझते थे

चिश्ती सूफी संतों के संदर्भ में सत्य कथन है
-चिश्ती संप्रदाय के सूफी संत अपने को राजाओं, कुलीनों एवं धनवानों से संबद्ध नहीं रखते थे
-वे धन एवं शक्ति से घृणा करते थे और धनवान को तुच्छ समझते थे

ख्वाजा कुतुबुद्दीन बख्तियार काकी किस सिलसिले से संबंधित थे-चिश्ती सिलिसिले से

ख्वाजा कुतुबुद्दीन को ‘बख्तियार’ की उपाधि किसने प्रदान की थी- ख्वाजा मुइनुद्दीन चिश्ती ने

ख्वाजा कुतुबुद्दीन बख्तियार काकी किसके शिष्य थे- ख्वाजा मुइनुद्दीन चिश्ती के

कुतुबुद्दीन बख्तियार काकी किसके शासनकाल में भारत आए थे- इल्तुतमिश के

किस सूफी संत की मृत्यु हर्षोन्माद की स्थिति में शेख अली सिस्तानी की ‘खानकाह’ (मठ) में हुई थी-कुतुबुद्दीन बख्तियार काकी की

शेख ख्वाजा कुतुबुद्दीन बख्तियार काकी की दरगाह कहाँ पर स्थित है- दिल्ली में

बाबा फरीद का संबंध किस क्षेत्र से था- पंजाब से

बाबा फरीद का जन्म कहाँ हुआ था- मुल्तान में

वह सूफी संत कौन था, जिसे पंजाबी भाषा का पहला कवि माना जाता था- बाबा फरीद

बाबा फरीदुद्दीन गंज-ए-शकर का मकबरा कहाँ स्थित है-पाटन (अजोधन) में
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किस सिलसिले से निजामुद्दीन औलिया संबंधित थे-चिश्ती सिलसिले से

शेख निजामुद्दीन औलिया का जन्म कहाँ हुआ था
– बदायूँ में

किस सूफी संत ने सात सुल्तानों का राज्य देखा था- शेख निजामुद्दीन औलिया ने

शेख फरीद का सर्वाधिक ख्यातिलब्ध शिष्य कौन था, जिसने दिल्ली के सात सुल्तानों का शासन देखा था- निजामुद्दीन औलिया

किस सुल्तान से निजामुद्दीन औलिया ने भेंट करने से इंकार करदिया था- अलाउद्दीन खिलजी से

किस सूफी सन्त ने कहा था कि ‘अभी दिल्ली दूर है’- निजामुद्दीन औलिया

कौन-सा सुल्तान अपने समकालीन सन्त निजामुद्दीन औलिया को शत्रु मानता था
-गियासुद्दीन तुगलक

किस सूफी संत को ‘महबूब-ए-इलाही (ईश्वर का प्रिय) और ‘सुल्तान-उल-औलिया (संतों का राजा) भी कहा गया है- शेख निजामुद्दीन औलिया को –

‘महबूब-ए-इलाही’ किसकी उपाधि थी-निजामुद्दीन औलिया की

किस सूफी सन्त ने योग क्रिया को अपनाया और ‘सिद्ध’ कहलाए- निजामुद्दीन औलिया

कवायद-उल-कुआद की विषय सामग्री किससे संबंधित है-शेख निजामुद्दीन औलिया से

अमीर हसन अल सिज्जी द्वारा संकलित कृति फवायद उल फुवाद में किसके डुइंग्स एंड सेइंग्स (कार्यों एवं कथनों) का अभिलेख है
-शेख निजामुद्दीन औलिया के

‘फवायद-उल-फवाद’ नामक पुस्तक में शेख निजामुद्दीन औलिया की बातचीत का विवरण है। इसका संकलन किसने किया था- अमीर हसन सिज़्ज़ी ने

सूफी संत निजामुद्दीन औलिया की मजार कहाँ पर स्थित है- दिल्ली में

निजामुद्दीन औलिया और नासिरूद्दीन चिराग कौन थे-चिश्ती संत थे

शेख नासिरुद्दीन चिराग-ए-दिल्ली किसका शिष्य था- शेख निजामुद्दीन औलिया

कौन प्रसिद्ध सूफी संत अवध में पैदा हुए थे
-नासिरूद्दीन महमूद ‘चिराग-ए-दिल्ली’

चिश्तिया संप्रदाय के सूफी संतो में से किस एक को ‘चिराग-ए- देहलवी’ कहा जाता था
– शेख नासिरूद्दीन को

अमीर खुसरो किसके शिष्य थे -निजामुद्दीन औलिया के

किस सूफी ने भारत को ‘पृथ्वी का स्वर्ग’ कहा था
– अमीर खुसरो ने

सूफियो में से किसे ‘तुर्क अल्लाह’ की पदवी दी गई थी- अमीर खुसरो को

कौन प्रसिद्ध चिश्ती संत था, जिसका मकबरा फतेहपुर सीकरी में निर्मित किया गया था
– शेख सलीम चिश्ती का

प्रसिद्ध संत सलीम चिश्ती कहाँ रहते थे- फतेहपुर सिकरी में

किस सूफी संत को ‘शेख-उल-हिन्द’ की पदवी प्रदान की गई थी- शेख सलीम चिश्ती को

कालक्रम की दृष्टि से सूफी संतों का क्रम सही है
-मुइनुद्दीन चिश्ती- निजामुद्दीन औलिया-गेसूदराज-शलीम चिश्ती

किस संत ने दक्कन (गुलबर्गा) में चिश्तिया सिलसिला को प्रसिद्धि दिलाई थी -गेसूदराज ने

अजमेर में ख्वाजा मुइनुद्दीन चिश्ती की दरगाह पर नजर (भेंट) भेजने वाले प्रथम मराठा सरदार कौन थे-राजा साहू ( शिवाजी के पौत्र)

सुहरावर्दी
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सुहरावर्दी क्या था-सूफियों का एक संप्रदाय था

किसने भारत में सुहरावर्दी पंथ की स्थापना की थी- शेख बहाउद्दीन जकारिया ने

शेख बहाउद्दीन जकारिया किस सूफी सिलसिले के थे- सुहरावर्दी सिलसिले के

किस सूफी संत को ‘जहांनिया जहांगश्त’ की उपाधि मिली थी- सैय्यद जलालुद्दीन को

किस सुहरावर्दी संत कवि को सिकंदर लोदी की अनुशंसा प्राप्त थी, जिसने बाबर की प्रशंसा में स्तुतिगान लिखा और जो हुमायूं के गुजरात अभियान में साथ था- शेख जमाली

‘भारत में सुहरावर्दी सिलसिला के संस्थापक शेख बहाउद्दीन जकारिया से संबन्धित सही कथन हैं

– वह दरिद्रता को आध्यात्मिक जीवन के लिए एक आवश्यक शर्त नहीं मानते थे

– वह अपनी संपत्ति को यह कहकर न्यायसंगत ठहराते थे कि उन्हे इससे दरिद्रों की बेहतर सेवा करने में मदद मिलती थी

– वह समा के सिद्धान्त को अस्वीकृत नही करते थे

फिरदौसी
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भारत में फिरदौसी सिलसिले की शुरुआत किसने की थी- बदरुद्दीन ने

शेख शफ़ुद्दीन याहिया मनेरी किस सूफी सिलसिला से संबंध रखते थे-फिरदौसी सिलसिले स
शत्तारी
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शत्तारी सिलसिले की स्थापना किसने की थी
-शाह अब्दुल्ला शत्तार ने

शत्तारी सिलसिले का प्रचार-प्रसार प्रमुख रूप से कहाँ हुआ था- गुजरात एवं मध्य प्रदेश में

शत्तारी सिलसिले के सबसे प्रमुख सूफी संत कौन थे-शाह मुहम्मद गौस

कौन सूफी संत कृष्ण को औलिया के रूप में स्वीकार करता था-शाह मुहम्मद गौस

कादिरी
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भारत में सूफियों की कादिरी पद्धति सबसे पहले किसके द्वारा लागू की गई थी- शेख नियामतुल्ला और मखदूम मुहम्मद जिलानी

मियां मीर और मुल्ला शाह बदक्शी किस सूफी सिलसिलों से संबंधित थे-कादिरी सिललिसे से

किस सूफी संत को ‘पीराने-पीर’ (संतों का प्रधान), ‘महबूब-ए- शुभानी’ (ईश्वर का प्रेमी) और ‘पीर-ए-दस्तगीर’ (मदद करने वाला संत) की उपाधि प्राप्त थी- शेख अब्दुल कादिर जिलानी को

किस सूफी संत ने प्रसिद्ध स्वर्ण मंदिर की नींव रखी थी- मियां मीर ने

दाराशिकोह किस सूफी संप्रदाय से संबंधित था
-कादिरी संप्रदाय से

किन सूफी संतो ने कादिरी सिलसिले को पंजाब तथा सिंध में लोकप्रिय बनाया- शेख मुहम्मद अल हुसैनी तथा शेख अब्दुल कादिर

नक्सबंदी
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कौन-सा सूफी सिलसिला सर्वाधिक कट्टरपंथी था
-नक्सबंदी सिलसिला

कौन-सा सूफी संप्रदाय सर्वाधिक रूढ़िवादी था
-नक्शबंदी संप्रदाय

सूफीवाद के सिलसिले में कौन संगीत के विरुद्ध था-नक्शबंदिया

शेख अहमद सरहिन्दी किस सिलसिले के अनुयायी थे-नक्शबंदी सिलसिले के

भारत में नक्सबंदी सिलसिले की शुरुआत किसने की थी-ख्वाजा बाकी बिल्लाह ने

कौन भारतीय सूफी सन्त ‘मुजद्दिद’ कहलाता था
– शेख अहमद सरहिन्दी

किस सूफी ने ‘वहादत-उल-शुहूद’ मत का समर्थन किया था- शेख अहमद सरहिन्दी ने

किस सूफी ने ‘वहादत-उल-शुहूद’ मत का समर्थन किया था – शेख अहमद सरहिन्दी ने

किस सूफी संत ने ‘वहदत-उल-वुजुद’ की अवधारणा के खिलाफ रूख प्रस्तुत किया था -शेख अहमद सरहिंदी ने

विविध
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सूफी सिलसिलों के भारत आने का सही क्रम क्या है-चिश्ती-सुहरावर्दी-कादिरी-नक्शबंदी

भारतीय योग पद्धति को अंगीकार करने वाला सूफी संप्रदाय कौन था – चिश्ती एवं सत्तारी

सोलहवीं शताब्दी में भारत में रोशनिया आंदोलन की शुरूआत किसने की थी-मियां बायजीद अंसारी ने

भारत में महदवी आंदोलन की शुरूआत किसने की थी- सैय्यद मुहम्मद जौनपुरी ने

कौन अति कट्टरपंथी सूफी संप्रदाय था -नक्शबंदी संप्रदाय

‘इल्मे इलाही मुहम्मदी’ नामक रहस्यवादी सिद्धान्त का प्रतिपादन किस सूफी संत ने किया था- ख्वाजा मीर दर्द ने

फारसी कवियों में से किसे ‘भारत का सादी’ कहा जाता है-अमीर हसन को

किन दो सूफी शाखाओं ने 17वीं शताब्दी में भारतीय इस्लाम को पुनर्जीवन प्रदान किया था
-नक्शबंदिया व कादिरिया सिलसिले ने

वह पंजाबी सूफी कवि कौन था जो कुरान पाक और अन्य धर्म ग्रन्थों का कटु आलोचक था
– बुल्ले शाह

‘अमृतकुंड’ जिसमें स्वास्थ्य के लिए विभिन्न प्रकार के अध्यायों और प्रयोगों का वर्णन किया गया है, को फारसी में किस नाम से अनूदित किया गया है
-हौज-उल हयात नाम से

वह विषय जो हिन्दू विद्वानों द्वारा उपेक्षित किंतु मुस्लिम विद्वानों द्वारा रूचि का विषय रहा, क्या था- इतिहास

सूफी संतों में से कौन ‘मुजद्दिद’ के नाम से जाना जाता है- शेख अहमद फारूक सरहिंदी

‘कलीला-व-दिम्ना’ नामक पुस्तक किससे संबंधित है- हिन्दू दर्शन पद्धति से

किस सूफी सन्त ने चिन्तामणि भट्ट की ‘शुकसप्तति’ का ‘तूतीनामा’ नामक फारसी कृति में अनुवाद किया था- ख्वाजा जियाउद्दीन नक्शवी न
किस सूफी ने लल्ल देद को अपना आध्यात्मिक गुरू स्वीकार किया था-शेख नूर-उद-दीन ने

किसने कश्मीर में सूफियों के ऋषि सिलसिले की स्थापना की थी- शेख नुरुद्दीन ने

“राजकीय मुकुट का प्रत्येक मोती गरीब किसान की अश्रुपूरित आंखो से गिरी हुई रक्त की घनीभूत बूंद है।” दिल्ली सल्तनत काल में भारतीय किसानों की गरीबी पर यह टिप्पणी किसने की थी- अमीर खुसरो ने

सूफी संगीत के संदर्भ में सत्य कथन है

(1) मध्यकाल में संगीत पर संस्कृत में लिखी गई अनेक पुस्तकों का फारसी में अनुवाद किया गया था
(2) आरंभिक चिश्ती सूफी संत संगीत सभाओं, जिन्हे ‘समा’ कहा जाता था, के शौकीन थे

पृथ्वीराज चौहान एवं गियासुद्दीन hat d संदर्भ में सत्य कथन है

(1) पृथ्वीराज चौहान ख्वाजा मुइनुद्दीन चिश्ती के समकालीन थे

(2) गियासुद्दीन तुगलक शेख निजामुद्दीन औलिया के समकालीन थे

मुस्लिम आदाब साहित्य के संदर्भ में सत्य कथन है -मुस्लिम राजनीतिक चिंतन को आदाब साहित्य ने भी स्वरूप प्रदान किया

-आदाब साहित्य कुछ हद तक पंचतंत्र से प्रभावित था, जिसने इब्न-अल-मुकफ्फा के अनुवाद ‘कलीला व दिम्ना’ से अरबी साहित्य का परिचय हो चुका था